Muzaffarpur 9 August : पटना उच्च न्यायालय के 4 अगस्त के आदेश के आलोक में बिहार विश्वविद्यालय ने 10 कॉलेजों को यूजीसी के पैसे का हिसाब नहीं देने के कारण स्पष्टीकरण मांगा है. पटना उच्च न्यायालय ने विश्वविद्यालय को आदेश देकर कहा कि उपयोगिता प्रमाण पत्र नहीं देने वाले संस्थानों पर विश्वविद्यालय करवाई करे. यूजीसी के पैसों का हिसाब नहीं देने वाले 10 अंगीभूत और संबंध कॉलेजों द्वारा राशि नहीं वापस करने पर राशि की वसूली कुलपति के वेतन से की जाएगी तथा कुलपति को न्यायालय में उपस्थित होकर इसकी जानकारी देनी होगी,

गौरतलब है कि बिहार विश्वविद्यालय में पिछले कुछ दिनों से छात्र हंगामा कर रहे हैं कि कुलपति विश्वविद्यालय आकर कार्यालय से कार्य नहीं करते हैं. यूजीसी रिमाइंडर भेज रहे पर कॉलेज संज्ञान नहीं ले रहे हैं. 325 संस्थानों पर 1048 करोड़ बकाया है . बिहार में कॉलेज को दिए गए 67.88 करोड़ बाकी है.
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— RAJESH GOLTOO (@GOLTOO) August 9, 2022
जिन 10 कॉलेजों को ने उपयोगिता प्रमाण पत्र नहीं दिया है उनके नाम हैं
अक्षयवट कॉलेज , महुआ, वैशाली
डॉक्टर जगन्नाथ मिश्रा कॉलेज, मुजफ्फरपुर
डॉक्टर राम मनोहर लोहिया कॉलेज, मुजफ्फरपुर
केसीटीसी कॉलेज रक्सौल,
एलएन मिश्रा कॉलेज आफ बिजनेस मैनेजमेंट, मुजफ्फरपुर
एमएसकेजी कॉलेज, अरेराज
पंडित उगाम पांडे कॉलेज, मोतीहारी
आरएसएस महिला कॉलेज, सीतामढ़ी
एसआरपीएस कॉलेज, जैतपुर
एसकेजे लॉ कॉलेज, मुजफ्फरपुर
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